कुछ टूट से और बिखर से गये थे हम आध्यात्म से रूठ से गये थे हम। कुछ टूट से और बिखर से गये थे हम आध्यात्म से रूठ से गये थे हम।
करना नहीं कुछ पड़ता तुमको, इतनी सरल युक्ति बतलाते हैं। करना नहीं कुछ पड़ता तुमको, इतनी सरल युक्ति बतलाते हैं।
उसका गीत गाके महफिल सजा लेती हूं ये कविता लिख कर पा लिया करती हूँ उसे उसका गीत गाके महफिल सजा लेती हूं ये कविता लिख कर पा लिया करती हूँ उसे
मैं जीना सीख गई हूं मैं अपनी कहानी से सन्तुष्ट हूं । मैं जीना सीख गई हूं मैं अपनी कहानी से सन्तुष्ट हूं ।
खुदको साबित करके उड़ाने है सबके होश। खुदको साबित करके उड़ाने है सबके होश।
दिन और भी कट जाएंगे मेरे चिंतित मन को और सताएंगे पर मैं खश हूँ और खुश ही रहूंगा सब की याद मन में ताज... दिन और भी कट जाएंगे मेरे चिंतित मन को और सताएंगे पर मैं खश हूँ और खुश ही रहूंगा ...